It is used to treat cough and cold and has quality of healing sore throat. It also helps to treat stomach disorder. Jimbu is full of vitamin C and helps to inhibit the growth of harmful bacteria in the body. Jimbu also contributes to the formation of red blood cells and also helps to maintain healthy skin
जिंबू प्याज के परिवार से जुड़ी एक दुर्लभ जड़ी-बूटी है, जो उत्तराखंड में बड़ी मशहूर है। परंपरागत रूप से इसका इस्तेमाल खाना पकाने में उपयोग किए जाने वाले मसाले के रूप में होता है। किसी भी व्यंजन का स्वाद बढ़ाने और उसमें तड़का लगाने के लिए यह सबसे अच्छा एजेंट है।
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जिंबू एक मौसमी जड़ी-बूटी है, जिसकी कटाई अपै्रल से सिंतबर के बीच होती है। इसे एकसाथ खाना पकाने में उपयोग के लिए एकत्रित कर सुखाया और संग्रहित करके रखा जाता है। भारतीय जड़ी-बूटियों को लेकर बढ़ती चिंता के साथ इस दुलर्भ जड़ी-बूटी का कारोबार अब सीमा पार किया जा रहा है। उत्तराखंड में तो इसका कारोबर हो ही रहा है, लेकिन नेपाल और तिब्बत के कुछ हिस्सों में भी इसे उगाया और इस्तेमाल किया जाने लगा है।
इस प्राकृतिक जड़ी-बूटी का उपयोग मुख्य रूप से करी, सूप, अचार में होता है। यहां तक की मांस बनाते समय स्वाद बढ़ाने के लिए मसाले के तौर पर इसे डाला जाता है। विशेषज्ञों की मानें तो इस जड़ी-बूटी का उपयोग नेपाल और उत्तराखंड में कुकिंग और मेडिसिन पर्पज से बड़े पैमाने पर किया जाता रहा है।
2010 में प्रकाशित हुए एक अध्ययन के अनुसार, घी में तले हुए सूखे जिंबू के डंठल व्यंजन का स्वाद दोगुना बढ़ा देते हैं। अध्ययन से यह भी पता चला है कि नेपाल में इसे उड़द की दाल के साथ इस्तेमाल किए जाने का खूब चलन है। जिंबू ग्लूटामेट सामग्री में समृद्ध है। बता दें कि ग्लूटामेट एक अमीनो एसिड है, जिसे खाने में मिलाया जाए, तो काफी हद तक व्यंजन का स्वाद बदल जाता है।
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